भारत के युवा जाग जा

 


आहोत आपण सुखी पण सुख सांभाळाव लागत

ते सांभाळण्या साठी सतत काही तरी नव नव कराव लागत

असला समृध्द वारसा हे आपल भाग्य आहे

करंटे  निघालो हे देशाच दुर्भाग्य आहे

         " भारत के युवा जागजा"

हमारे हवाले कर गये है वतन वो शहिद

शहादत की उनकी क्या किमत नही

झगडेगें आपस में तो, लड मरेंगे

और जन्नत सा देश हमारा 

फिरसे क्या गुलाम करेंगे

युवा हो तुम, 'ताकद' देश की 

सारे जहाँ मे न कोई इतने जवाँ है

ठाँन लो के अब अपने देश की सेवा हम करेंगे

सारे जहाँ में हम नाम अपने वतन का ऊँचा करेंगे 

न केसरी ,न निला ,न हरा धरेंगे 

हम हिंद के बच्चे है 

बस हाँथ में यारों तिरंगा धरेंगे


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